बेटों ने उल्टी-दस्त से मौत होना बताकर नहीं कराया पीएम, डॉक्टर को ऐसी बीमारी के लक्षण नहीं मिले
शिवपुरी. जिले के रन्नौद थाना क्षेत्र के ग्राम मथना में रहने वाले एक आदिवासी दंपत्ति की बीती रात संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई। दंपत्ति की हालत तब बिगड़ी, जब उनके बाहर रहने वाले बेटे घर पर आए। महत्वपूर्ण बात यह है कि बेटों ने उल्टी-दस्त से मौत बताते हुए उनका पीएम नहीं करवाया, जबकि उनका इलाज करने वाले डॉक्टर का कहना है कि उनमें उल्टी-दस्त के कोई लक्षण थे ही नहीं।
रनौत के मथना में रहने वाले 65 वर्षीय महराज आदिवासी व उनकी पत्नी कलिया (60) की हालत मंगलवार की शाम 4 बजे एकाएक बिगड़ने पर उन्हें रन्नौद अस्पताल लाया गया, जहां वो बेहोशी की हालत में लाए गए। उन्हें कोलारस अस्पताल भी ले जाया गया तथा उनका परीक्षण करने वाले डॉक्टर अक्षय ने बताया कि दंपत्ति को उल्टी दस्त के।लक्षण नहीं थे, बल्कि उनके शरीर में ऑक्सीजन लेबल व बीपी का लेबल बहुत ही कम था, जो पूरे मामले को संदिग्ध बना रहा था। हालत गंभीर होने पर इस दंपत्ति को जिला अस्पताल रेफर किया, जहां पहुंचने से पहले ही उन्होंने दम तोड़ दिया।
बताते हैं कि इस दंपति के बेटे बाहर रहते हैं, और जब कल वो वापस घर आए, उसके कुछ देर बाद ही दंपत्ति को बेहोशी की हालत में अस्पताल पहुंचाया गया। संदेह इसलिए भी अधिक है, क्योंकि दंपत्ति की संदिग्ध मौत के बाद भी बेटों ने इसे सामान्य मौत बताते हुए उनका पीएम नहीं करवाया। पुलिस मामले की जांच में जुट गई है।








