
कार्रवाई करने वालों से ही सांठगांठ करके प्याज के साथ गोदाम में भरी गई खाद, अब झाड़ रहे पल्ला
शिवपुरी। जिले में खाद के लिए किसान सुबह से शाम तक लाइन में लगा रहा, और इधर कालाबाजारी करने वालों ने कृषि विभाग से सांठगांठ करके अपने गोदाम खाद से भर लिए। पोहरी के ग्राम ठर्रा गांव के एक गोदाम में 1168 खाद की बोरियां जब्त की गई। अब जबकि खाद का भंडारण पकड़ में आ गया, तो अब वो ही कार्रवाई करने का दावा कर रहे हैं, जिनकी सांठगांठ से खाद की कालाबाजारी की तैयारी की गई।
शिवपुरी जिले में राजनीतिक शून्यता के चलते प्रशासनिक मनमानी चरम पर है। जिसे जहां मौका मिल रहा है, वो माल समेटने में लगा है। अब जबकि किसान को खाद की जरूरत है, तो इस मौके को भी नहीं छोड़ा, और ठर्रा गांव के गोदाम में 1168 खाद की बोरियां गुपचुप भरकर रख ली गईं। इधर खाद की कालाबाजारी करने वालों ने भंडारण कर लिया, उधर खाद न मिलने से गुस्साए किसान चक्काजाम करते रहे। पिछले दिनों में कोलारस और बदरवास में खाद के लिए दो बार चक्काजाम और हाथापाई तक हो गई थी। वहीं पोहरी में भी किसानों ने पोहरी-बैराड रोड पर गुस्साए किसानों ने चक्काजाम कर दिया था।
ठर्रा गांव के गोदाम में इतनी बड़ी मात्रा में खाद की बोरियां मिलने के बाद गोदाम मालिक अरुण वर्मा ने यह कहकर पल्ला झाड़ने का प्रयास किया कि यह खाद कृषक छिद्दा सिंह की है, उसकी 200 बीघा जमीन है, जिसके लिए उसने खाद इकठ्ठी खरीद ली। चूंकि एक तरफ जहां किसान खाद के 2- 4 कट्टों के लिए परेशान है, तो वहीं एक ही किसान को 1168 खाद की बोरियां किसने उपलब्ध करवा दीं..?। चूंकि इसमें कृषि विभाग के जिम्मेदार भी शामिल हैं, इसलिए उक्त दोनों के खिलाफ सिरसौद थाने में प्रकरण दर्ज करवा दिया गया।
वो करते रहे दावे, इधर हो गई कालाबाजारी
जब जिले में खाद का संकट गहराया तो शिवपुरी स्टेशन पर खाद की रैक आने पर भाजपा नेता पहुंच गए, और उन्होंने केंद्रीय मंत्री को क्रेडिट देते हुए दावा किया कि अब खाद का संकट नहीं होगा। लेकिन खाद की कालाबाजारी हो जाने की वजह से उसके बाद भी किसानों का चक्काजाम चलता रहा। अब देखना यह है कि क्या खाद की कालाबाजारी को देखने के लिए अन्य गोदाम भी चेक होंगे, जो राजनीतिक संरक्षण में खाद से भरे हुए हैं।
